Alka Yagnik and Mohammed Aziz - Bahut Jatate Ho Pyar
बहुत जताते हो चाह हुंसे
बहुत जताते हो चाह हुंसे
करोगे कैसे निबाह हुंसे
आए दिल आए दिल आए दिल आए दिल आए दिल
आए दिल आए दिल आए दिल
कसम खुदा की यही कहूँगा
कसम खुदा की यही कहूँगा
तुम्हारे बिन में ना जी सकूँगा
आए दिल आए दिल आए दिल आए दिल
आए दिल आए दिल आए दिल आए दिल
यह दर्द क्या हैं करार क्या हैं
तुम्हे पता हैं यह प्यार क्या हैं
दीवानापन हैं दीवानगी हैं
सुना हैं मैने यह बेखुदी हैं
वफ़ा की राहों में जलना होगा
कहीं गिरे तो संभालना होगा
सुलगते शोलों पे में चलूँगा
सुलगते शोलों पे में चलूँगा
वफ़ा के रंगों में रंग लूँगा
आए दिल आए दिल आए दिल आए दिल
आए दिल आए दिल आए दिल आए दिल
नज़र में चेहरा तराश लूँगा
तुम्हारी साँसों की प्यास लूँगा
यह ख्वाब इतना हसीन क्यों हैं
तुम्हें वफ़ा पे यकीन क्यों हैं
मेरी तो ख्वाहिश तुम्हारी चाहत
मुझे भी कब से तुम्हारी हसरत
मिलाओ ना यूँ निगाह हुंसे
मिलाओ ना यूँ निगाह हुंसे
हो जाए ना कोई गुनाह हुंसे
आए दिल आए दिल आए दिल आए दिल
आए दिल आए दिल आए दिल आए दिल
ज़माना हुमको करेगा रुसवाह
ज़रा बताओ करोगे तुम क्या
मुझे ना रुसवाई का कोई दर्र
तुम्हे तो चाहा हैं अपने दम पर
किसी ने हुमको जुड़ा किया तो
खुशी के मौसम में गुम दिया तो
ज़माने के सारे गुम सहूँगा
ज़माने के सारे गुम सहूँगा
ना दूर अब तुमसे मैं रहूँगा
आए दिल आए दिल आए दिल आए दिल
आए दिल आए दिल आए दिल आए दिल
बहुत जताते हो चाह हुंसे
करोगे कैसे निबाह हुंसे
आए दिल आए दिल आए दिल आए दिल
आए दिल आए दिल आए दिल आए दिल
आए दिल आए दिल आए दिल आए दिल
आए दिल आए दिल आए दिल आए दिल.
Written by:
NAQASH HAIDER
Publisher:
Lyrics © Royalty Network, Songtrust Ave
Lyrics powered by Lyric Find