Kishore Kumar - Dukhi Man Mere [Dukhi Man Mere]

दुखी मन मेरे सुन मेरा कहना
जहाँ नहीं चैना वहाँ नहीं रहना
दुखी मन मेरे

दर्द हमारा कोई न जाने
अपनी गरज के सब हैं दीवाने
किसके आगे रोना रोएं
देस पराया लोग बेगाने
दुखी मन मेरे सुन मेरा कहना
जहाँ नहीं चैना वहाँ नहीं रहना
दुखी मन मेरे

लाख यहाँ झोली फैला ले
कुछ नहीं देंगे इस जग वाले
पत्थर के दिल मोम न होंगे
चाहे जितना नीर बहाले
दुखी मन मेरे सुन मेरा कहना
जहाँ नहीं चैना वहाँ नहीं रहना
दुखी मन मेरे

अपने लिये कब हैं ये मेले
हम हैं हर इक मेले में अकेले
क्या पाएगा उसमें रहकर
जो दुनिया जीवन से खेले
क्या पाएगा उसमें रहकर
जो दुनिया जीवन से खेले
दुखी मन मेरे सुन मेरा कहना
जहाँ नहीं चैना वहाँ नहीं रहना
दुखी मन मेरे

Written by:
S D Burman, Sahir Ludhianvi

Publisher:
Lyrics © Royalty Network

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Kishore Kumar

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