Javed Ali and पलक मुच्छल - Tumse Mil Ke

ए ए ए ए ए ए ए ए
तेरी सोहबतो की हवाओ मे
तेरी चाहतो की फ़िज़ाओ मे
हो तेरी सोहबतो की हवाओ मे
तेरी चाहतो की फ़िज़ाओ मे
मैं महक रहा हू खिल के
तुम से मिल के मिल के मिल के
तुम से मिल के मिल के मिल मिल के
तुम से मिल के मिल के मिल के
तुम से मिल के मिल के मिल मिल के

तेरी आँखे है या शरारे दो
हो फलक पे जैसे सितारे दो
हो तेरी आँखे है या शरारे दो
हो फलक पे जैसे सितारे दो
तू है माहेरू तू हिजाब है
तू सरापा गज़ल की किताब है

तेरी शायराना अदाओ से
तेरी आशिकाना निगाहो से
रंग बिखर रहे है दिल के

तुम से मिल के मिल के मिल के
तुम से मिल के मिल के मिल मिल के
तुम से मिल के मिल के मिल के
तुम से मिल के मिल के मिल मिल के

यह जो मुझ मे इतना निखार है
यह तेरी नज़र का खुमार है
हो यह जो मुझ मे इतना निखार है
यह तेरी नज़र का खुमार है
यह हुआ आईने के मैं रूबरू
या के आईने मे बहार है

तेरी कुबतो की पनाहो मे
तेरी धड़क्नो की सदाओ मे
है निशान मेरी मंज़िल के
तुम से मिल के मिल के मिल के
तुम से मिल के मिल के मिल मिल के
तुम से मिल के मिल के मिल के
तुम से मिल के मिल के मिल मिल के
तुम से मिल के मिल के मिल के
तुम से मिल के मिल के मिल मिल के
तुम से मिल के मिल के मिल के
तुम से मिल के मिल के मिल मिल के

Written by:
Shakeel Azmi

Publisher:
Lyrics © Raleigh Music Publishing LLC

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Javed Ali and पलक मुच्छल

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