Vicky Singh - Meri Kismat Mein Tu Nahin Shayad

सोचता हूँ कि मेरी आँखों ने, क्यों सजाये थे प्यार के सपने
तुझसे माँगी थी एक खुशी मैंने, तूने ग़म भी नहीं दिये अपने
तूने ग़म भी नहीं दिये अपने
ज़िंदगी बोझ बन गयी अब तो, अब तो जीता हूँ और न मरता हूँ
मैं तुझे कल भी प्यार करता था मैं तुझे अब भी प्यार करता हूँ
मेरी कसिमत में तू नहीं शायद क्यू तेरा इंतज़ार करता हूँ
मैं तुझे कल भी प्यार करता था मैं तुझे अब भी प्यार करता हूँ

दिल नहीं इख्तियार में मेरे, जान जायेगी प्यार में तेरे
तुझसे मिलने की आस है आ जा, मेरी दुनिया उदास है आ जा
मेरी दुनिया उदास है आ जा
प्यार शायद इसी को कहते हैं, हर घड़ी बेक़रार रहता हूँ
रात दिन तेरी याद आती है, रात दिन इंतज़ार करती हूँ
मेरी कसिमत में तू नहीं शायद क्यू तेरा इंतज़ार करता हूँ
मैं तुझे कल भी प्यार करता था मैं तुझे अब भी प्यार करता हूँ

Written by:
Laxmikant Pyarelal, Amir Qazalbash

Publisher:
Lyrics © Royalty Network

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Vicky Singh

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