Ustad Ali Ahmed Hussain and मोहम्मद हुसैन - Yeh Na Thi Humari Qismat
ये ना थी हमारी किस्मत
के विशाल-ए-यार होता
ये ना थी हमारी किस्मत
के विशाल-ए-यार होता
अगर और जीते रहते
यहीं इंतज़ार होता
ये ना थी हमारी किस्मत
तेरे वाडे पे जिए हम
ये जान छुट जाना
तेरे वादे पे जिए हम
ये जान छुट जाना
क्या खुशी से मर ना जाते
अगर ऐतबार होता
अगर और जीते रहते
यहीं इंतज़ार होता
ये न थी हमारी किस्मत हाये
कोई मेरे दिल से पुच्छे
तेरे तीर-ए-नीं काश को
कोई मेरे दिल से पुच्छे
तेरे तीर-ए-नीं काश को
ये खलिश कहाँ से होती
जो जिगर के पार होता
अगर और जीते रहते
यहीं इंतज़ार होता
ये ना थी हमारी किस्मत
ये मसाले तसवउूर
ये तेरा बयान घालिबे
ये मसाले तसवउूर
ये तेरा बयान घालिबे
तुझे हम वाली समझते
जो ना बदखा होता
अगर और जीते रहते
यहीं इंतज़ार होता
ये ना थी हमारी किस्मत
के विशाल-ए-यार होता
ये ना थी हमारी किस्मत
Written by:
Ahmed Hussain, Ghalib Mirza (Traditional), Mohammed Hussain
Publisher:
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