Kavita Krishnamurthy - Garjo Re
अंगारों मे जले ना मेरे जनम जनम का प्यार
गंगा जमुना बन के बरस जा सुनले मेरी पुकार
बद्रा रे बरसों रे बिन सावन बरसों रे
बद्रा रे बरसों रे बिन सावन बरसों रे
आँखों से मेरे आँसु चुरा के
छम छम बरसों रे
बद्रा रे बरसों रे (आ आ)
बिन सावन बरसों रे
बद्रा रे बरसों रे
बद्रा रे बरसों रे
मितवा बिना तो मैं हैं अधूरी
मितवा बिना मेरा जीवन आधा
श्याम संग राधा राधा हैं
श्याम बिना किस काम की राधा
हम बिछड़े ना टूट ना जाए
जनम मरण के साथ का वादा
बिछड़े दिलों को आज मिला के
झूम के बरसों रे
बद्रा रे बरसों रे (आ आ)
बिन सावन बरसों रे
आँखों से मेरे आँसु चुरा के
छम छम बरसों रे
बद्रा रे बरसों रे (आ आ)
बिन सावन बरसों रे
बद्रा रे बरसों रे
बद्रा रे बरसों रे
तू घनश्याम श्याम मेरा साजन
अपनी नाम की लाज निभा दे
तुझको कम सांवरी घटा की
मेरे प्यार को आज बचा ले
जो शोलों को फूल बना दे
आज वही बरखा बरसा दे
उमड़ घुमड़ घिर घिर के छा के
टूट के बरसों रे
बद्रा रे बरसों रे (आ आ)
बिन सावन बरसों रे
आँखों से मेरे आँसू चुरा के
छम छम बरसों रे
बद्रा रे बरसों रे (आ आ)
बिन सावन बरसों रे
बद्रा रे बरसों रे
बद्रा रे बरसों रे
बरसों रे, बरसों रे
Written by:
ANJAAN, BAPPI LAHIRI
Publisher:
Lyrics © Royalty Network
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