Amit Kumar and Kavita Krishnamurthy - Tooti Khidki Makdi Ka Jangla

आ आ आ आ हा आ आ आ आ
आ आ आ आ हा आ आ आ आ

टूटी खिड़की मकड़ी का जंगला
जॅंगल के पीछे भूत बंगला
टूटी खिड़की मकड़ी का जंगला हम
जॅंगल के पीछे भूत बंगला
बंगले मे कोई आया है आके हमे जगाया है
बंगले मे कोई आया है आके हमे जगाया है
जाएगा बचके कहा
टूटी खिड़की मकड़ी का जंगला
जॅंगल के पीछे भूत बंगला
टूटी खिड़की मकड़ी का जंगला
जॅंगल के पीछे भूत बंगला

खिँचो इसके बालो को नोचो इसके गालो को
देख ना पाए आ देख ना पाए आ
काटो इसको दांतो से पकडो दोनो हाथो से
भाग ना जाए भाग ना जाए
छोड़ेंगे ना इसे देंगे हम सज़ा
इसको चखाएँगे आने का मज़ा
हमको ना देख ले आँखो को फोड़ दो
चल के ना जा सके टाँगो को तोड़ दो
अरे मारो इसको बारी बारी

भर भुर्ब भुर्ब धार धुरब धुरब
जम जमे जम जंतर कर रस्म भस्म
तर रस्म कसम दम दमे दम मंतर

टूटी खिड़की मकड़ी का जंगला
जॅंगल के पीछे भूत बंगला
टूटी खिड़की मकड़ी का जंगला
जॅंगल के पीछे भूत बंगला
बंगले मे कोई आया है आके हमे जगाया है
बंगले मे कोई आया है आके हमे जगाया है
जाएगा बचके कहा आऊ आऊ
टूटी खिड़की मकड़ी का जंगला
जॅंगल के पीछे भूत बंगला

तन्हाई के पहरे हैं अंधेरे भी गहरे हैं
दूर ना जाओ दूर ना जाओ होंट हमारे सूखे हैं
कई दीनो से भूखे हैं पास तो आओ पास तो आओ
हम तो अकेले हैं कोई ना यहा
पीछा ना छोड़ेंगे जाओगे जहा
पिएँगे हम लहू तुमको निच्चोड़ के
रख लेंगे बाहो मे सब को मरोड़ के
बन जाएँगे मौत तुम्हारी टूटी खिड़की मकड़ी का जंगला
जॅंगल के पीछे भूत बंगला
टूटी खिड़की मकड़ी का जंगला
जॅंगल के पीछे भूत बंगला
आ आ आ आ आ
आ आ आ आ आ
बंगले मे कोई आया है आके हमे जगाया है
बंगले मे कोई आया है आके हमे जगाया है
जाएगा बचके कहा हा हा
टूटी खिड़की मकड़ी का जंगला
जॅंगल के पीछे भूत बंगला
टूटी खिड़की मकड़ी का जंगला(हा हा)
जॅंगल के पीछे भूत बंगला(हा हा)
बचाओ

Written by:
SAMEER, ANAND MILIND

Publisher:
Lyrics © Royalty Network

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Amit Kumar and Kavita Krishnamurthy

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